स्वास्थ्य: स्वास्थ्य की दृष्टि से यह महीना आपको कुछ स्वास्थ्य समस्याएं दे सकता है। आठवें भाव में देव गुरु बृहस्पति के होने से आप सिरदर्द और पाचन संबंधी समस्याओं से ग्रस्त हो सकते हैं। इस महीने राहु-केतु की स्थिति भी अनुकूल नहीं है। राहु सातवें भाव और केतु पहले भाव में स्थित है, जिसके प्रभावस्वरूप कमर दर्द और अपच की शिकायत हो सकती है।
आठवें भाव में स्थित गुरु मानसिक तनाव, चिंता और घबराहट जैसी समस्याओं का कारण बन सकते हैं। हालांकि छठे भाव में शनि देव की उपस्थिति के कारण आपको बड़ी स्वास्थ्य समस्याओं से नहीं जूझना पड़ेगा क्योंकि स्वराशि में स्थित शनि देव साहस और रोग प्रतिरोधक क्षमता प्रदान कर सकते हैं। लेकिन इनकी वजह से आपकी टांगो और जांघों में दर्द की समस्या हो सकती है।
इस माह के लिए आपको सलाह दी जाती है कि अपने खानपान के प्रति विशेष रूप से सावधानी बरतें। प्रतिदिन योग, व्यायाम आदि करें और मानसिक स्वास्थ्य को अच्छा बनाए रखने के लिए नियमित रूप से मेडिटेशन करें।
कैरियर: करियर के लिहाज से इस महीने आपको थोड़ा संघर्ष करना पड़ सकता है क्योंकि देव गुरु बृहस्पति आठवें भाव में स्थित हैं। इसके कारण कार्यस्थल पर आपके ऊपर काम का दबाव बढ़ सकता है और साथ ही आपको कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। आशंका है कि काम में आने वाली चुनौतियों का कारण आपके वरिष्ठ होंगे क्योंकि राहु महाराज सातवें भाव में और केतु महाराज पहले भाव में स्थित हैं।
हालांकि शुक्र देव दूसरे और तीसरे भाव में विराजमान हैं, जिसके परिणामस्वरूप आपको शुभ फलों की प्राप्ति होगी। दूसरी ओर शनि देव कुंडली के छठे भाव में स्थित होकर आपको काम के प्रति समर्पित होने के आशीर्वाद देंगे। ऐसे में आप अपने कार्यों को समय पर पूरा करने में सक्षम होंगे और सफलता की ओर अग्रसर होंगे।
जो जातक व्यवसायी हैं, उन्हें इस महीने औसत परिणाम मिलने की संभावना बन रही है। यदि आप अपने व्यवसाय का विस्तार करने की योजना बना रहे हैं तो हो सकता है कि आपकी योजना असफल हो जाए। इसके अलावा अपेक्षित लाभ अर्जित करने के लिए भी आपको कई प्रयास करने पड़ सकते हैं।
प्रेम / विवाह / व्यक्तिगत संबंध: कन्या राशि के जो लोग रिलेशनशिप में हैं, उनके लिए यह महीना औसत रूप से फलदायी सिद्ध होगा चूंकि आठवें भाव में बृहस्पति देव और पहले-सातवें भाव में राहु-केतु स्थित हैं। शनि देव पांचवें भाव के स्वामी के रूप में छठे भाव में विराजमान हैं, जिसके कारण प्रियतम के साथ आपको बहस या नोक-झोंक हो सकती है।
ग्रहों की उपरोक्त स्थिति के कारण, जो लोग सिंगल हैं और जिनकी शादी नहीं हुई है, उन्हें बहुत अच्छे परिणाम देखने को नहीं मिलेंगे। संभव है कि आपको अपना हमसफर ढूंढने के लिए थोड़ा इंतज़ार करना होगा। वहीं जो लोग शादीशुदा हैं, उन्हें भी अपने रिश्ते में कई उतार-चढ़ावों से गुज़रना पड़ सकता है। प्रेम के कारक शुक्र देव महीने के अंत में जब अनुकूल अवस्था में होंगे, तब आपको अपने प्रेम और वैवाहिक जीवन में सुख की अनुभूति होगी।
सलाह: प्रतिदिन 41 बार "ॐ कालिकायै नमः" का जाप करें।
प्रतिदिन 41 बार “ॐ केतवे नमः” का जाप करें।
सामान्य: वैदिक ज्योतिष में कन्या राशि को राशि चक्र के छठे पायदान पर रखा गया है, जिसके स्वामी बुध महाराज हैं। इस राशि में जन्मे जातक बुद्धि में तेज और चालाक होते हैं। इनकी ऑब्जर्वेशन स्किल और तार्किक शक्ति बहुत अच्छी होती है। बिज़नेस में इन लोगों का प्रदर्शन काफ़ी शानदार होता है। ये लोग मल्टीटास्किंग होते हैं और हर काम को बहुत अच्छी तरह से सम्पन्न करते हैं।
दिसंबर मासिक राशिफल 2023 के अनुसार, यह महीना आपके लिए औसत रूप से फलदायी साबित होगा चूंकि देव गुरु बृहस्पति आठवें भाव में स्थित हैं। शनि देव पांचवें और छठे भाव के स्वामी के रूप में छठे भाव में हैं, जिनके प्रभावस्वरूप करियर में आपको नए मौके मिलेंगे और आपको अपनी मेहनत के बल पर सफलता मिलेगी। राहु-केतु पहले और सातवें भाव में हैं, जो कि रिश्तों में समस्याएं पैदा कर सकते हैं। बृहस्पति महाराज की प्रतिकूल अवस्था के कारण आपको अपने आर्थिक जीवन और स्वास्थ्य के प्रति सावधानी बरतने की आवश्यकता होगी। हालांकि इनकी वजह से आपका झुकाव अध्यात्म की ओर अधिक रहेगा। साथ ही विरासत के माध्यम से आर्थिक लाभ होने के योग बनेंगे।
आइए विस्तार से जानते हैं कि दिसंबर का यह महीना आपके करियर, शिक्षा, पारिवारिक जीवन, प्रेम और वैवाहिक जीवन, आर्थिक जीवन और स्वास्थ्य आदि के लिए कैसा रहने वाला है और आपको किस प्रकार के परिणाम देखने को मिलेंगे।
वित्त: आर्थिक जीवन की बात करें तो इस महीने आठवें भाव में देव गुरु बृहस्पति की मौजूदगी होने से आपके ख़र्चों में वृद्धि संभव है। बढ़ते ख़र्चों के कारण आपकी आर्थिक स्थिति प्रभावित हो सकती है। ऐसे में ज़रूरतें पूरी करने के लिए आपको कर्ज़ लेना पड़ सकता है। इसके अलावा इस माह के दौरान धन हानि होने की भी आशंका है। ऐसे में आप धन की बचत भी नहीं कर सकेंगे।
राहु-केतु की उपस्थिति के कारण आपके ऊपर आर्थिक संकट मंडरा सकता है। हालांकि छठे भाव में स्थित शनि देव आपके आर्थिक जीवन को पटरी पर लाने का प्रयास करेंगे। महीने के अंत में जब शुक्र देव की स्थिति अनुकूल होगी, तब आपको पैसा कमाने और बचाने का मौका मिलेगा।
जो लोग ख़ुद का व्यवसाय चला रहे हैं, उन्हें इस माह के दौरान बहुत अधिक लाभ न होने की आशंका है। संभावना है कि मार्केट में आपको अपने प्रतिद्वंदियों से कड़ी टक्कर मिल सकती है, जिसके कारण प्रोडक्ट की ब्रिकी में गिरावट आएगी। ऐसे में अपेक्षित लाभ अर्जित कर पाना आपके लिए थोड़ा मुश्किल साबित होगा।
पारिवारिक: आशंका है कि इस महीने आपको अपने पारिवारिक माहौल को देखकर उलझन महसूस होगी। चौथे भाव के स्वामी के रूप में आठवें भाव में देव गुरु बृहस्पति की उपस्थिति होने की वजह से परिवार के सदस्यों में अहंकार की भावना पैदा हो सकती है, जिससे वाद-विवाद और मतभेद बढ़ने के आसार ज़्यादा रहेंगे।
शनि देव छठे भाव में स्थित हैं और इनकी दृष्टि आठवें भाव में विराजमान देव गुरु बृहस्पति पर पड़ रही है, जिसके कारण परिवारजनों के बीच संबंधों में ग़लतफ़हमियां पैदा हो सकती हैं। आशंका है कि यह ग़लतफ़हमियां पैसों को लेकर होंगी।